ग्राम कचहरी में सुनवाई योग्य मामले इस प्रकार होते है।
* ग्राम कचहरी की न्याय पीठ में सुनवाई योग्य मामले की सुनवाई किसी अन्य न्यायालय में नहीं होगा।
* ग्राम कचहरी की न्याय पीठ से विचारणीय मामले से संबंधित किसी किए गए अपराध की जानकारी थाना प्रभारी उस क्षेत्र की ग्राम कचहरी को पन्द्रह दिनों के अंदर देगा।
* ग्राम कचहरी की न्याय पीठ द्वारा विचारणीय किसी अपराध से संबंधित मामला ऐसी न्याय पीठ के समक्ष लंबित हो और पुलिस पदाधिकारी द्वारा आरोप पत्र प्रस्तुत कर दिया हो या उसी अपराध के संबंध में किसी दंडाधिकारी के पास परिवाद दाखिल किया गया हो,तो ऐसा पुलिस पदाधिकारी या परिवादी आरोप पत्र या परिवाद पत्र में इसका उल्लेख करेगा कि ऐसा ही मामला ग्राम कचहरी की न्याय पीठ में लंबित है,उस स्थिति में संबंधित दंडाधिकारी न्याय पीठ को ऐसे मामले का विचारण करने का निर्देश देगा।
* यदि दंडाधिकारी या मुंसिफ या अन्य सक्षम न्यायालय में चल रहे किसी मामले के विषय में ऐसा लगे कि मामला ग्राम कचहरी द्वारा विचारणीय है, तो उस मामले को संबंधित न्यायालय जल्द ही संबंधित ग्राम कचहरी को सौंप देंगे।
* यदि किसी विहीत न्यायालय को ऐसा लगे कि ग्राम कचहरी की न्याय पीठ में विचारणीय मामला ग्राम कचहरी के द्वारा सुने जाने योग्य नहीं हो,तो वे उस मामले को वापस मंगा सकेंगे अथवा दूसरी न्याय पीठ में सुनवाई हेतु भेज देंगे सकेंगे।
* पक्षकारों एवं ग्राम कचहरी की न्याय पीठ की अनुमति के बिना कोई वकील किसी केस में ग्राम कचहरी की न्याय पीठ के समक्ष नहीं उपस्थित हो सकता है।
* किसी मामले का कोई पक्ष कार स्वय या किसी प्रतिनिधि के माध्यम से,न्याय पीठ की स्वीकृति प्राप्त करने के बाद,नए पीठ के समक्ष उपस्थिति हो सकता है।
* सरपंच अपने निर्गत सम्मन के कारण लिखित अभियुक्त को व्यक्तिगत स्थित उपस्थिति से छूट दे सकेगा तथा किसी प्रतिनिधि के माध्यम से उपस्थित होने की अनुमति दे सकेगा। परंतु न्याय पीठ कार्य वाही के किसी और स्तर पर जांच पड़ताल के लिए व्यक्तिगत रूप से हाजिर होने का निर्देश भी दे सकता है।
* मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी,अपर मुख्य न्यायिक दंडाधिकारी,या अवर न्यायिक दंडाधिकारी तथा मुंशी फ का ग्राम कचहरी पर नियंत्रण आगे दी गई स्थिति में आवेदन प्राप्त होने पर या स्वत भी बना रहेगा।
(1) किसी मामले में न्याय की स्थिति हुई हो या होने की आशंका हो न्याय की असिद्धि होने पर आदेश की तारीख से साठ दिनों के अंदर न्याय पीठ से अभिलेख मांग सकेगा।
(2) मामले को वह किसी ग्राम कचहरि की अन्य पीठ को या पंचायत समिति क्षेत्र के अंतर्गत किसी अन्य ग्राम कचहरी की पीठ को सुनवाई हेतु सौप सकेगा।
(3) उसी ग्राम कचहरी की न्याय पीठ को मामला फिर से विचार करने को कह सकेगा,या पंचायत समिति के क्षेत्राधिकार के भीतर ग्राम कचहरी के किसी अन्य न्याय पीठ के सामने मामला नए सिरे से दायर करने का निर्देश देगा।